अतिक्रमण के नाम पर प्रशासन ने दलित परिवार का उजाडा असियाना, दलित अधिकार केन्द्र के जांच दल ने पुलिस प्रशासन की भूमिका को बताया गैर कानूनी
पाली
जिले के खिंवाड़ा थाना क्षेत्र के रुंगड़ी गांव में दलित अधिकार केन्द्र के तीन संदस्य जांच दल ने दलित परिवार का प्रशासन द्वारा आशियाना उजाड़ने व घरेलू सामान तक उठा कर ले जाने के मामले में गुरुवार को दलित अधिकार केन्द्र के तीन संदस्य जांच दल जिसमें चन्दालाल बैरवा एडवोकेट राज्य समन्वयक, हेमन्त मीमरौठ एडवोकेट, रिसर्च, दलित अधिकार केन्द्र जयपुर, इन्दिरा सोलंकी जिला मसन्वयक दलित अधिकार केन्द्र अजमेर ने पीड़ित अशोक कुमार नायक निवासी ग्राम रूगडी तहसील रानी के घर का दौरा कर पीडित परिवार दलित समुदाय, स्वतंत्र गवाह व ग्रामवासियों से मिलकर वास्तविक स्थिति का जायजा लिया तथ्य एकत्रित किये व घटना की पूरी जांच पड़ताल की गई। जांच दल ने जिला कलेक्टर व पुलिस अधीक्षक पाली से मिलकर उक्त प्रकरण में निष्पक्ष जांच कर आरोपियों के खिलाफ कार्यवाही करने की मांग की गई।
पीड़ित का आरोप है -
अशोक कुमार नायक निवासी रुंगड़ी तहसील रानी ने जांच दल व जिला कलेक्टर व पुलिस अधीक्षक को लिखित रिपोर्ट में बताया कि प्रशासन ने दबंगों के दबाव में कार्यवाही करते हुए उसका रुंगड़ी गांव की खसरा नं. 40 पर आसियाना बना कर रह रहा था तथा गांव के अन्य दबंग व प्रभावशाली जाति के लोग भी उक्त भूमि पर रह रहे है। पीडित दिनांक 18 फरवरी 2021 को अस्पताल में दवाई लेने गया हुआ था और पीछे से गोपीकिशन पालीवाल, तत्कालीन तहसीलदार, तहसील रानी,तत्कालीन थानाधिकारी मनमंथ आढा पुलिस थाना खिवाडा, सुनीता चारण उप तहसीलदार खिंवाड़ा तहसील रानी, हिमांशु जांगिड, वृताधिकारी, पोमाराम चौधरी गिरदावर, तहसील रानी, व अन्य स्थानीय प्रशानिक अधिकारियों ने अतिक्रमण के नाम पर पुलिस प्रशासन से सांठ-गांठ कर पीडित अशोक कुमार नायक के घर को तोड–फोड कर दिया व पीडित का दैनिक जीवन में काम आने वाले घरलू सामान स्थानीय प्रशासन ने कानून कायदों को ताक में रख कर घरेलू सामान ले गये।
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